विक्रेता के लिए उत्पादक देश का नाम बताना अनिवार्य
चीन के उत्पादों पर प्रतिबंध की एक और बड़ी कार्रवाईस्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम
Tuesday 23 June 2020 02:34:46 PM
नई दिल्ली। वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय के तहत एक स्पेशल पर्पस व्हीकल, गवर्नमेंट ई-मार्केटप्लेस यानी जीईएम ने विक्रेताओं के लिए यह अनिवार्य बना दिया है कि जीईएम पर सभी नए उत्पादों को पंजीकृत करते समय वे उत्पाद की उत्पत्ति के देश की जानकारी अवश्य देंगे। इसके अतिरिक्त जिन विक्रेताओं ने जीईएम पर इस नए फीचर के लागू होने से पूर्व अपने उत्पादों को पहले ही अपलोड कर लिया है, उन्हें इस चेतावनी के साथ कि अगर वे इसे अपडेट करने में विफल रहे तो उनके उत्पाद को जीईएम से हटा दिया जाएगा। नियमित रूपसे उत्पाद की उत्पत्ति के देश का नाम अद्यतन करने के लिए यह स्मरण दिलाया जा रहा है। जीईएम ने यह उल्लेखनीय कदम मेक इन इंडिया तथा आत्मनिर्भर भारत को बढ़ावा देने के लिए उठाया है। माना जा रहा है कि यह चीन के उत्पादों को भारत में प्रतिबंधित करने की एक और बड़ी कार्रवाई है, जिसमें चीन के शेयर वाला उत्पाद भी प्रतिबंध में आ जाएगा।
जीईएम पोर्टल ने उत्पादों में स्थानीय कंटेंट की प्रतिशतता का संकेत देने के लिए भी एक प्रावधान किया है। इस नए फीचर के साथ अब उत्पाद उत्पत्ति का देश तथा स्थानीय कंटेंट की प्रतिशतता सभी मदों के लिए मार्केट प्लेस में दृष्टिगोचर हैं। इससे भी अधिक महत्वपूर्ण बात यह है कि अब पोर्टल पर मेक इन इंडिया फिल्टर सक्षम बना दिया गया है। खरीददार केवल उन्हीं उत्पादों की खरीद कर सकता है, जो कम से कम 50 प्रतिशत के स्थानीय कंटेंट के मानदंड को पूरी करते हैं। बोलियों के मामले में खरीददार अब क्लास 1 स्थानीय आपूर्तिकर्ताओं के लिए किसी भी बोली को आरक्षित कर सकते हैं। दो सौ करोड़ रुपये से नीचे की बोलियों के लिए केवल क्लास 1 तथा क्लास 2 स्थानीय आपूर्तिकर्ता ही बोली लगाने के पात्र हैं, जिसमें क्लास 1 आपूर्तिकर्ता को खरीद वरीयता प्राप्त होगी।
जीईएम पोर्टल पर स्थानीय कंटेंट फीचरों के कुछ आशु चित्र अनुलग्नक में प्रदर्शित किए गए हैं। अपनी शुरुआत से ही जीईएम मेक इन इंडिया पहल को बढ़ावा देने की दिशा में काम कर रहा है। मार्केट प्लेस ने वास्तविक अर्थों में मेक इन इंडिया तथा सरकार की एमएसई खरीद वरीयता नीतियों को कार्यांवित करते हुए सार्वजनिक खरीद में छोटे स्थानीय विक्रेताओं के प्रवेश को सुगम बनाया है। जीईएम इस महत्वपूर्ण समय में जब सरकारी संगठनों को कोविड-19 महामारी के खिलाफ लड़ने के लिए तत्काल उत्पादों एवं सेवाओं की आवश्यकता है, जिन्हें जीईएम त्वरित, दक्ष, पारदर्शी और किफायती खरीद को सक्षम बना रहा है। सरकारी उपयोगकर्ताओं द्वारा जीईएम के माध्यम से खरीदों को वित्त मंत्रालय ने सामान्य वित्तीय नियम 2017 में एक नए नियम संख्या 149 को जोड़े जाने के जरिये अधिकृत और अनिवार्य बना दिया है।