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Monday 11 August 2025 12:37:24 PM
बेंगलुरु। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने समारोहपूर्वक कर्नाटक में कल 7160 करोड़ रुपये की लागत वाली बेंगलुरु मेट्रो की येलो लाइन का उद्घाटन किया और 15610 करोड़ रुपये से अधिक की लागत वाली बेंगलुरु मेट्रो चरण-3 ऑरेंज लाइन परियोजना की आधारशिला रखी। उन्होंने बेंगलुरु के केएसआर रेलवे स्टेशन पर तीन वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनों को भी हरी झंडी दिखाई। प्रधानमंत्री ने उपस्थित जनसमूह को संबोधित करते हुए बेंगलुरु की अधिष्ठात्री देवी अन्नम्मा थायी के चरणों में श्रद्धासुमन अर्पित किए और कर्नाटक की समृद्ध संस्कृति, यहां के लोगों के स्नेह और कन्नड़ भाषा की मधुरता का उल्लेख किया। यह स्मरण करते हुएकि सदियों पहले नादप्रभु केम्पेगौड़ा ने बेंगलुरु शहर की नींव रखी थी प्रधानमंत्री ने कहाकि केम्पेगौड़ा ने एक ऐसे शहर की कल्पना की थी, जो परंपराओं से ओतप्रोत हो और उन्नति की नई ऊंचाइयों को छुए। प्रधानमंत्री ने कहाकि बेंगलुरु ने हमेशा इस भावना को जीया है, उसे संजोया है और बेंगलुरु शहर इसी सपने को साकार कर रहा है। प्रधानमंत्री ने कहाकि बेंगलुरु नए भारत के उदय का प्रतीक बन चुका है, जिसकी आत्मा दार्शनिक ज्ञान से ओतप्रोत है, जिसके कार्य तकनीकी विशेषज्ञता को दर्शाते हैं और बेंगलुरु ने भारत को वैश्विक आईटी मानचित्र पर गौरवांवित किया है। उन्होंने बेंगलुरु की सफलता का श्रेय यहां के लोगों की कड़ी मेहनत और प्रतिभा को दिया।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहाकि 21वीं सदी में शहरी नियोजन और शहरी बुनियादी ढांचा भारत के शहरों की अहम ज़रूरतें हैं। उन्होंने कहाकि बेंगलुरु जैसे शहरों को भविष्य केलिए तैयार रहना होगा, भारत सरकार ने बेंगलुरु केलिए हज़ारों करोड़ रुपये की परियोजनाएं शुरू की हैं। उन्होंने कहाकि बेंगलुरु और बेलगावी केबीच वंदे भारत सेवा शुरू होने से बेलगावी में व्यापार और पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा, नागपुर-पुणे और श्रीमाता वैष्णो देवी कटरा-अमृतसर केबीच वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनें शुरू कर दी गई हैं। प्रधानमंत्री ने कहाकि इन सेवाओं से श्रद्धालुओं को लाभ होगा और पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा। उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर केबाद बेंगलुरु की अपनी पहली यात्रा का ज़िक्र करते हुए ऑपरेशन सिंदूर में भारतीय सेना की सफलता पर प्रकाश डाला और सीमापार आतंकवादी ठिकानों को नष्ट करने की उनकी क्षमता का ज़िक्र किया। उन्होंने आतंकवादियों का बचाव करने आए पाकिस्तान को कुछही घंटों में घुटने टेकने पर मजबूर करने पर भारत की ताकत की सराहना की। प्रधानमंत्री ने कहाकि दुनिया ने नए भारत के इस नए रूप को देखा है। उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर की सफलता का श्रेय तकनीक की शक्ति और रक्षा क्षेत्रमें मेक इन इंडिया की ताकत को दिया। उन्होंने इस उपलब्धि में बेंगलुरु और कर्नाटक के युवाओं के महत्वपूर्ण योगदान को स्वीकार किया और बधाई दी। प्रधानमंत्री ने कहाकि भारत को न केवल वैश्विक स्तरपर प्रतिस्पर्धा करनी चाहिए, बल्कि नेतृत्व भी करना चाहिए।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आरवी रोड से बोम्मासंद्रा तक बेंगलुरु मेट्रो की येलो लाइन शुरू करने की घोषणा की, जो बेंगलुरु के कई प्रमुख इलाकों को जोड़ेगी। उन्होंने कहाकि बसवनगुडी और इलेक्ट्रॉनिक सिटी केबीच यात्रा का समय अब काफ़ी कम हो जाएगा, इससे लाखों लोगों केलिए जीवन की सुगमता बढ़ेगी। प्रधानमंत्री ने कहाकि बेंगलुरु मेट्रो ने देश में सार्वजनिक अवसंरचना विकास का एक नया मॉडल पेश किया है। प्रधानमंत्री ने उल्लेख कियाकि इंफोसिस फाउंडेशन, बायोकॉन और डेल्टा इलेक्ट्रॉनिक्स जैसी कंपनियों ने कई प्रमुख मेट्रो स्टेशनों केलिए आंशिक वित्तपोषण प्रदान किया है। उन्होंने कॉरपोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व की प्रशंसा करते हुए इसे प्रेरणास्रोत बताया और कॉरपोरेट क्षेत्र को उनके योगदान केलिए बधाई दी। नरेंद्र मोदी ने कहाकि भारत दुनिया की सबसे तेजीसे बढ़ती प्रमुख अर्थव्यवस्था है और तेज़ीसे शीर्ष तीन अर्थव्यवस्थाओं में शामिल होने की ओर अग्रसर है। उन्होंने इस गति का श्रेय स्पष्ट इरादे और ईमानदार प्रयासों से प्रेरित सुधार प्रदर्शन और परिवर्तन की भावना को दिया। प्रधानमंत्री ने याद दिलायाकि 2014 में मेट्रो सेवाएं केवल पांच शहरों तक ही सीमित थीं, आज मेट्रो नेटवर्क 24 शहरों में 1000 किलोमीटर से अधिक तक फैला है, जिससे भारत विश्वस्तर पर तीसरा सबसे बड़ा मेट्रो नेटवर्क बन गया है। नरेंद्र मोदी ने बतायाकि 2014 से पहले केवल लगभग 20000 किलोमीटर रेलवे मार्गों का विद्युतीकरण किया गया था, जबकि इन ग्यारह वर्ष में 40000 किलोमीटर से अधिक रेलवे मार्गों का विद्युतीकरण किया गया है, जो सतत परिवहन विकास में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहाकि भारत की उपलब्धियां न केवल जमीन पर, बल्कि आसमान में भी बढ़ रही हैं। प्रधानमंत्री ने बतायाकि भारत में हवाई अड्डों की संख्या 160 से अधिक हो गई है, जलमार्ग अवसंरचना में उल्लेखनीय प्रगति की ओरभी ध्यान दिलाया। उन्होंने स्वास्थ्य और शिक्षा क्षेत्रमें भारत की प्रगति पर कहाकि देश में 22 एम्स और 704 मेडिकल कॉलेज लोगों की सेवा कर रहे हैं, एक लाख से ज़्यादा नई मेडिकल सीटें जोड़ी गई हैं, आईआईटी की संख्या 23, आईआईआईटी की संख्या 25 और आईआईएम की संख्या 21 हो गई है। उन्होंने कहाकि देश में छात्रों केपास उच्चशिक्षा में पहलेसे कहीं अधिक अवसर उपलब्ध हैं। प्रधानमंत्री ने कहाकि जैसे-जैसे देश तेज़ीसे प्रगति कर रहा है, वैसे-वैसे ग़रीबों और वंचितों के जीवन में भी उसी गति से बदलाव आ रहा है। उन्होंने बतायाकि प्रधानमंत्री आवास योजना केतहत 4 करोड़ से ज़्यादा पक्के घर उपलब्ध कराए गए हैं, तीन करोड़ और घर बनने को तैयार हैं, देशभर में 12 करोड़ से ज़्यादा शौचालय बनाए गए हैं, इस कदम ने करोड़ों माताओं और बहनों को सम्मान, स्वच्छता और सुरक्षा दी है। नरेंद्र मोदी ने कहाकि देश में विकास की तेज़ गति भारत की आर्थिक वृद्धि से प्रेरित है। उन्होंने जिक्र कियाकि भारत का कुल निर्यात का आंकड़ा 824 अरब डॉलर हो गया है, अब देश मोबाइल हैंडसेट के शीर्ष पांच निर्यातकों में शामिल है, इस बदलाव में बेंगलुरु की अहम भूमिका है। उन्होंने बतायाकि 2014 से पहले भारत का इलेक्ट्रॉनिक्स निर्यात लगभग 6 अरब डॉलर था, जो अब बढ़कर लगभग 38 अरब डॉलर हो गया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहाकि भारत एआई मिशन जैसी पहलों से वैश्विक एआई नेतृत्व की ओर बढ़ रहा है, सेमीकंडक्टर मिशन भी गति पकड़ रहा है और भारत केपास शीघ्र ही अपनी स्वयं की मेड इन इंडिया चिप होगी। प्रधानमंत्री ने कहाकि भारत कम लागत, उच्च तकनीक वाले अंतरिक्ष मिशनों का एक वैश्विक उदाहरण बन गया है, भविष्य की तकनीक क्षेत्रों में उन्नति कर रहा है, इसका सबसे उल्लेखनीय पहलू ग़रीबों का सशक्तिकरण है। प्रधानमंत्री ने कहाकि यूपीआई से भारत दुनिया के 50 प्रतिशत से अधिक वास्तविक समय के लेनदेन केलिए उत्तरदायी है। उन्होंने कहाकि तकनीक सरकार और नागरिकों केबीच की खाई को पाटने में सहायता कर रही है, आज 2200 से अधिक सरकारी सेवाएं मोबाइल प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध हैं, उमंग ऐप से नागरिक घर बैठे सरकारी कार्य पूरे कर सकते हैं, जबकि डिजिलॉकर से सरकारी प्रमाणपत्रों के प्रबंधन की परेशानी समाप्त हो गई है। प्रधानमंत्री ने कहाकि भारत एआई से संचालित खतरे का पता लगाने जैसी तकनीकों में निवेश कर रहा है, इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना हैकि डिजिटल क्रांति का लाभ समाज के अंतिम व्यक्ति तक पहुंचे। उन्होंने स्वीकार कियाकि बेंगलुरु राष्ट्र निर्माण में सक्रिय रूपसे योगदान दे रहा है। प्रधानमंत्री ने कहाकि भारतीय तकनीकी कंपनियों ने दुनिया केलिए सॉफ्टवेयर और उत्पाद विकसित करके वैश्विक स्तरपर अपनी पहचान स्थापित की है और अब भारत अपनी आवश्यकताओं को और दृढ़ता से प्राथमिकता दे, नए उत्पादों के विकास में तेज़ी लाए खासकर इसलिए, क्योंकि अब हर क्षेत्रमें सॉफ्टवेयर और ऐप्स का इस्तेमाल हो रहा है। नरेंद्र मोदी ने कहाकि भारत केलिए इस क्षेत्रमें नई ऊंचाइयों को छूना ज़रूरी है। प्रधानमंत्री ने मेक इन इंडिया और विनिर्माण क्षेत्रमें बेंगलुरु और कर्नाटक की उपस्थिति को मज़बूत करने की आवश्यकता पर बल दिया।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आग्रह कियाकि भारत के उत्पादों को ‘ज़ीरो डिफेक्ट, ज़ीरो इफ़ेक्ट’ मानक का पालन करना चाहिए यानी उनकी गुणवत्ता बेदाग़ होनी चाहिए और पर्यावरण पर कोई नकारात्मक प्रभाव नहीं डालना चाहिए। उन्होंने कहाकि बीते एक दशक में केंद्र सरकार ने लगातार सुधारों को बढ़ाया है, उदाहरण के तौरपर उन्होंने कानूनों को अपराधमुक्त करने केलिए जनविश्वास विधेयक का उदाहरण दिया और घोषणा कीकि जनविश्वास 2.0 भी पेश किया जा रहा है। उन्होंने राज्य सरकारों को अनावश्यक आपराधिक प्रावधानों वाले कानूनों की पहचान करने और उन्हें समाप्त करने केलिए प्रोत्साहित किया। नरेंद्र मोदी ने मिशन कर्मयोगी पहल का उल्लेख किया, जिसका उद्देश्य सरकारी कर्मचारियों को योग्यता आधारित प्रशिक्षण प्रदान करना है। उन्होंने सुझाव दियाकि राज्य अपने अधिकारियों केलिए भी इस शिक्षण ढांचे को अपना सकते हैं। आकांक्षी जिला कार्यक्रम और आकांक्षी ब्लॉक कार्यक्रम पर संज्ञान लेते हुए प्रधानमंत्री ने राज्यों से इसी तरह उन क्षेत्रों की पहचान करने का निवेदन किया, जिनपर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। कार्यक्रम में कर्नाटक के राज्यपाल थावरचंद गहलोत, कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार, केंद्रीय मंत्री मनोहरलाल खट्टर, एचडी कुमारस्वामी, रेल और आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव, केंद्रीय राज्यमंत्री वी सोमन्ना, शोभा करंदलाजे, कर्नाटक सरकार में मंत्री बी सुरेश, नेता विपक्ष आर अशोक, सांसद तेजस्वी सूर्या, डॉ मंजूनाथ, एमएलए विजयेंद्र येडियुरप्पा और गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।