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सीपी राधाकृष्णन उपराष्ट्रपति पद के उम्मीदवार

भाजपानीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन ने नाम पर मुहर लगाई

सीपी राधाकृष्णन एक प्रेरक उपराष्ट्रपति सिद्ध होंगे-प्रधानमंत्री

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Monday 18 August 2025 05:45:47 PM

chandrapuram ponnuswamy radhakrishnan and pm narendra modi

नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी ने महाराष्ट्र के राज्यपाल पद पर आसीन चंद्रपुरम पोन्नुस्वामी राधाकृष्णन को राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) का उपराष्ट्रपति पद केलिए उम्मीदवार घोषित किया है। इससे पहले भाजपा संसदीय बोर्ड की बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मौजूदगी में सर्वसम्मति से उपराष्ट्रपति पद केलिए सीपी राधाकृष्णन के नाम पर मुहर लगाई गई। तमिलनाडू राज्य के और स्वयं सेवक संघ की पृष्ठभूमि से आए चंद्रपुरम पोन्नुस्वामी राधाकृष्णन 31 जुलाई 2024 को महाराष्ट्र के राज्यपाल बनाए गए थे। इससे भी पहले वे लगभग डेढ़ वर्ष झारखंड के राज्यपाल भी रहे। झारखंड के राज्यपाल रहते उनको तेलंगाना के राज्यपाल और पुडुचेरी के उपराज्यपाल का भी कार्यभार दिया गया था। यूं तो सीपी राधाकृष्णन का उपराष्ट्रपति बनना सुनिश्चित है, लेकिन पद का उम्मीदवार घोषित होते ही एनडीए ने उनको सबका उम्मीदवार बनाने के प्रयास तेज कर दिए हैं। भाजपा ने उनका समर्थन जुटाने केलिए सभी दलों से संपर्क करना शुरू कर दिया है। सीपी राधाकृष्णन की आरएसएस की पृष्ठभूमि होने के कारण लगता हैकि वे शायद ही सर्वसम्मति उपराष्ट्रपति चुने जाएं।
चंद्रपुरम पोन्नुस्वामी राधाकृष्णन का चार दशक से भी ज्यादा राजनीति और सार्वजनिक जीवन में एक सम्मानित नाम हैं। उनका जन्म 20 अक्टूबर 1957 को तिरुपुर (तमिलनाडु) में हुआ था। वे बिजनेस एडमिनिस्ट्रेशन में स्नातक हैं। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के स्वयंसेवक रहते हुए वे 1974 में भारतीय जनसंघ की राज्य कार्यकारिणी के सदस्य बने। वर्ष 1996 में उन्हें तमिलनाडु भाजपा का सचिव नियुक्त किया गया। सीपी राधाकृष्णन 1998 में पहलीबार कोयंबटूर से लोकसभा केलिए चुने गए और 1999 में फिर लोकसभा सदस्य चुने गए। सांसद के रूपमें सीपी राधाकृष्णन कई संसदीय समितियों के सदस्य, कपड़ा संबंधी संसदीय स्थायी समिति के अध्यक्ष, सार्वजनिक क्षेत्रके उपक्रमों (पीएसयू) संबंधी संसदीय समिति और वित्त संबंधी परामर्शदात्री समिति के सदस्य रहे। वे स्टॉक एक्सचेंज घोटाले की जांच करने वाली संसदीय विशेष समिति के सदस्य भी थे। सीपी राधाकृष्णन ने वर्ष 2004 में संसदीय प्रतिनिधिमंडल के सदस्य के रूपमें संयुक्तराष्ट्र महासभा को संबोधित किया है। वे ताइवान गए पहले संसदीय प्रतिनिधि मंडल के सदस्य भी थे।
सीपी राधाकृष्णन 2004 से 2007 केबीच तमिलनाडु भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष रहे। इस पद पर रहते हुए उन्होंने 19,000 किलोमीटर की रथयात्रा की, जो 93 दिन तक चली। यह यात्रा सभी भारतीय नदियों को जोड़ने, आतंकवाद के उन्मूलन, समान नागरिक संहिता लागू करने, अस्पृश्यता निवारण और मादक पदार्थों के खतरे से निपटने जैसे देश के ज्वलंत विषयों को उजागर करने केलिए आयोजित की गई थी। उन्होंने ऐसी ही दो और पदयात्राओं का नेतृत्व किया। सीपी राधाकृष्णन 2016 में कोच्चि कॉयर बोर्ड के अध्यक्ष बनाए गए और चार वर्ष तक इस पदपर रहे। उनके कुशल नेतृत्व में भारत का कॉयर निर्यात 2532 करोड़ रुपये के सर्वकालिक उच्चस्तर पर पहुंचा। वर्ष 2020 से 2022 तक वे केरल भाजपा के अखिल भारतीय प्रभारी रहे, 18 फरवरी 2023 को झारखंड का राज्यपाल बनाया गया। सीपी राधाकृष्णन अपने पहले चार महीने के कार्यकाल में झारखंड के सभी 24 जिलों का दौरा किया और नागरिकों तथा जिला अधिकारियों से बातचीत की। सीपी राधाकृष्णन टेबल टेनिस खिलाड़ी भी हैं और कॉलेज स्तरपर टेबल टेनिस में चैंपियन और लंबी दूरी के धावक थे।
सीपी राधाकृष्णन ने एनडीए के उपराष्ट्रपति पद के उम्मीदवार घोषत होने पर आज नई दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस मुलाकात को एक्स पर पोस्ट साझा करके लिखा हैकि थिरु सीपी राधाकृष्णन को एनडीए के उपराष्ट्रपति पद के उम्मीदवार बनने पर शुभकामनाएं। नरेंद्र मोदी ने कहाकि विभिन्न क्षेत्रों में सीपी राधाकृष्णन की लंबी जनसेवा और अनुभव हमारे राष्ट्र को समृद्ध करेगा, सार्वजनिक जीवन में थिरु सीपी राधाकृष्णन ने अपने समर्पण, विनम्रता और बुद्धिमत्ता से अपनी विशिष्ट पहचान बनाई है। प्रधानमंत्री ने लिखाकि विभिन्न पदों पर रहते हुए उन्होंने हमेशा सामुदायिक सेवा और हाशिए पर पड़े लोगों को सशक्त बनाने पर ध्यान दिया है, उन्होंने तमिलनाडु में जमीनी स्तरपर व्यापक कार्य किया है। प्रधानमंत्री ने कहाकि मुझे प्रसन्नता हैकि एनडीए परिवार ने उपराष्ट्रपति पद केलिए उन्हें गठबंधन का उपराष्ट्रपति पद का उम्मीदवार नामित करने का निर्णय लिया है। प्रधानमंत्री ने कहाकि सीपी राधाकृष्णन को सांसद और विभिन्न राज्यों के राज्यपाल के रूपमें समृद्ध अनुभव प्राप्त है, संसदीय मामलों में उनके हस्तक्षेप हमेशा प्रभावशाली रहे हैं, उनके अनुभवों ने सुनिश्चित कियाकि उन्हें विधायी और संवैधानिक मामलों का व्यापक ज्ञान है। प्रधानमंत्री ने विश्वास व्यक्त किया हैकि सीपी राधाकृष्णन एक प्रेरक उपराष्ट्रपति सिद्ध होंगे।

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