
धिक्कार है, व्यवस्था के इस अंधे और बेरहम दौर को, जिसके सामने कंचन जैसी न जाने कितनी बेबस हैं, जिन पर आज तक किसी की नज़र ही नहीं गई। विश्व विख्यात पीतल नगरी मुरादाबाद में अनगिनत अरबपति उद्योगपतियों, समाजसेवियों और जिला प्रशासन की नाक के नीचे संघर्ष कर रही कंचन अपने भविष्य के अगले संघर्ष की ओर बढ़ रही है।...